प्रजासत्ता|
निजीकरण के खिलाफ आज भी प्रदेश भर में बैंक कर्मचारी हड़ताल पर है। यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन्स के बैनर तले नौ यूनियनों ने केंद्र सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया। हड़ताल से बैंकों कामकाज प्रभावित हुआ है। कई क्षेत्रों में एटीएम खाली होने से लोगों को समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। राजधानी शिमला सहित प्रदेश के अन्य जिलों में भी दूसरे दिन भी बैंक कर्मचारियों ने प्रदर्शन किया।
बैंक यूनियनों के संयोजक गोपाल शर्मा ने कहा कि केंद्रीय बजट में वित्त मंत्री ने पब्लिक सेक्टर बैंकों के निजीकरण का प्रस्ताव रखा है। निजीकरण के बाद आम लोगों के लिए बैंकों से ऋण लेना मुश्किल हो जाएगा। हड़ताल से प्रदेश भर में बैंकिंग सेवाएं प्रभावित हुई हैं।
बता दें कि सरकारी बैंकों के लाखों कर्मचारीयों ने सोमवार और मंगलवार को दो दिनों की देश व्यापी हड़ताल का ऐलान किया था| गौर हो कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट में IDBI Bank बैंक के अलावा दो और सरकारी बैंकों के निजीकरण का ऐलान किया था. जिसका बैंक कर्मचारी यूनियनों की ओर से लगातार विरोध किया जा रहा है| अब विरोध हड़ताल का रूप ले रहा है|
गौरतलब है कि केंद्र सरकार ने अगले वित्त वर्ष (2021-22) के दौरान विनिवेश के जरिये 1.75 लाख करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य रखा है. बैंकों के निजीकरण के अलावा सरकार ने एक जनरल इंश्योरेंस कंपनी को भी अगले वित्त वर्ष में निजीकरण करने का फैसला लिया है|