Chandra Grahan 2025: पहला चंद्र ग्रहण: होली के दिन दिखेगा अद्भुत ‘ब्लड मून’, जानें पूरी डिटेल्स


Chandra Grahan 2025: पहला चंद्र ग्रहण: होली के दिन दिखेगा अद्भुत 'ब्लड मून', जानें पूरी डिटेल्स

Chandra Grahan 2025 Date, Time In India: 14 मार्च 2025 को साल का पहला चंद्र ग्रहण (Chandra Grahan 2025) लगने जा रहा है। यह खगोलीय घटना इसलिए और भी खास है क्योंकि इसे ‘ब्लड मून’ (लाल चंद्रमा) के रूप में देखा जाएगा। साथ ही, इस दिन होली का रंगीन त्योहार भी मनाया जाएगा, जो इस ग्रहण को और भी यादगार बना रहा है। आइए, जानते हैं इस चंद्र ग्रहण से जुड़ी सभी महत्वपूर्ण जानकारियां।

चंद्र ग्रहण 2025 का समय और अवधि (Chandra Grahan 2025 Timings)

  • शुरुआत: 14 मार्च 2025, सुबह 9 बजकर 29 मिनट
  • समाप्ति: 14 मार्च 2025, दोपहर 3 बजकर 29 मिनट
  • कुल अवधि: 6 घंटे 02 मिनट

हालांकि, यह चंद्र ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा। इसका नजारा उत्तरी और दक्षिणी अमेरिका, यूरोप, ऑस्ट्रेलिया और अफ्रीका में देखा जा सकेगा।

कब दिखेगा ब्लड मून? (Blood Moon Timing on Holi 2025)

चंद्र ग्रहण के दौरान ‘ब्लड मून’ का अद्भुत नजारा सुबह 11 बजकर 29 मिनट से दोपहर 1 बजकर 1 मिनट तक देखा जा सकेगा। यह दृश्य आकाश में लाल चंद्रमा के रूप में दिखाई देगा, जो खगोलीय घटना प्रेमियों के लिए एक दुर्लभ अनुभव होगा।

kips600 /></a></div><h3><strong>कहां दिखेगा चंद्र ग्रहण? (Chandra Grahan 2025 Visibility)</strong></h3><p>यह चंद्र ग्रहण भारत में दृश्यमान नहीं होगा। इसके बजाय, यह <a href=उत्तरी और दक्षिणी अमेरिका, यूरोप, ऑस्ट्रेलिया, अफ्रीका में दिखाई देगा। भारत में न दिखने के कारण, इस ग्रहण का सूतक काल भी मान्य नहीं होगा। हालांकि कई ज्योतिषों का मानना है कि इसका प्रभाव पूरी पृथ्वी पर पड़ेगा क्योंकि पूरी दुनिया एक ही भूखंड है, भए ही देश अलग अलग हों।

सूतक काल क्या है और क्यों महत्वपूर्ण है? (Chandra Grahan 2025 Sutak Kaal)

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, चंद्र ग्रहण शुरू होने से लगभग 9 घंटे पहले सूतक काल लग जाता है। इस दौरान शुभ कार्यों, पूजा-पाठ और मांगलिक अनुष्ठानों को टालने की सलाह दी जाती है। हालांकि, चूंकि यह ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा, इसलिए इसका सूतक काल भी मान्य नहीं होगा।

चंद्र ग्रहण का ज्योतिषीय और धार्मिक महत्व

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, चंद्र ग्रहण को एक महत्वपूर्ण खगोलीय घटना माना जाता है। इस दौरान राहु और केतु के प्रभाव बढ़ जाते हैं, जिससे जीवन में विघ्न और कष्ट आ सकते हैं। इसलिए ग्रहण के समय निम्नलिखित बातों का ध्यान रखने की सलाह दी जाती है:

  • ग्रहण के दौरान भोजन न करें।
  • पूजा-पाठ और हवन जैसे शुभ कार्यों को टालें।
  • ग्रहण समाप्त होने के बाद स्नान करके दान-पुण्य करना शुभ माना जाता है।

होली और चंद्र ग्रहण का अनोखा संयोग

14 मार्च 2025 को होली का त्योहार और चंद्र ग्रहण का संयोग बन रहा है। होली का यह त्योहार रंगों और उल्लास से भरा होता है, जबकि चंद्र ग्रहण एक गंभीर खगोलीय घटना है। यह संयोग लोगों के लिए एक विशेष अनुभव लेकर आएगा।

ND Prajasatta

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