प्रजासत्ता|
हिमाचल प्रदेश में बारिश जमकर तबाही मचाती हुई नजर आ रही है। मंगलवार देर रात से ही लगातार बारिश होती रही। बारिश की वजह से आम जन जीवन अस्त-व्यस्त हो चुका है। खराब मौसम के चलते प्रदेश में एक बच्चे समेत 11 लोगों की मौत हो गई है। छह लोग लापता भी हैं।
शिमला के बल्देयां में दंपती की मौत हुई है। जुन्गा में पांच साल के बच्चे पर गेट गिरा है। मंडी में नाना-दोहती, ताई-भतीजी समेत आठ की जान चली गई। मंडी के कुकलाह में स्कूल भवन और खोलानाला में 50 बकरियां और दो दर्जन मवेशी बाढ़ में बह गए हैं।
मंडी के कोटला, देओरी और पंडोह में बुधवार सुबह बादल फटने से तबाही हुई है। इससे मंडी के थुनाग में दो, गोहर, बालीचौकी, सदर और पंडोह में एक-एक व्यक्ति की मौत हुई। वहीं शिमला के मशोबरा बल्देयां में भी दंपत्ति की मलबे में दबने से जान गई।
मंडी में बादल फटने से कुलाह स्कूल की बिल्डिंग नाले में बह गई। कटोला में भी कई घरों और गौशालाओं को नुकसान हुआ है। सबसे ज्यादा तबाही शिमला में हुई है। जगह-जगह लैंडस्लाइड से घरों, गौशालाओं, दुकानों, सड़कों को नुकसान हो रहा है। भारी बारिश के बाद चंडीगढ़-शिमला, चंडीगढ़-मनाली फोरलेन सहित 850 से ज्यादा सड़कें बंद हो गई है।
शिमला के विजयनगर, कृष्णानगर, संजौली, नववहार और गाहन में 24 से ज्यादा घरों को खाली कराया गया है। पहाड़ों की रानी शिमला पर देवदार के पेड़ कहर बनकर टूट रहे हैं। इससे पहाड़ों पर लोग दहशत में आ गए हैं।
प्रदेश में पिछले 24 घंटे से बारिश के बाद नदी-नाले उफान पर आ गए है। मौसम विभाग ने 23-24 अगस्त के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। अगले कुछ घंटे के दौरान सोलन, शिमला, सिरमौर, हमीरपुर, ऊना मंडी, कांगड़ा, चंबा, कुल्लू, किन्नौर और लाहौल स्पीति में तेज बारिश का अलर्ट दिया गया है।
इसे देखते हुए सरकार ने लोगों को उफनते हुए नदी-नालों और लैंडस्लाइड संभावित क्षेत्रों में नहीं और गैर जरूरी यात्राएं टालने की सलाह दी है।